शायद इसलिए लोग कहते है की कवि प्रदीप ने गीत अपने समय से पूर्व ही लिख दिए थे 59
वर्ष पूर्व 1958 में महान राष्ट्रभक्त कवि प्रदीप ने फिल्म तलाक (1958)
में खरे शब्दों में गद्दारो को सीधी चेतावनी देते हुए इस अमर गीत की रचना
की थी इसे अभिनेता राजिंदर कुमार पर फिल्माया गया था .सुनिए और सोचिये की यह गीत आज भी कितना प्रासंगिक है.ये गाना देश के हालात पर
प्रासंगिक है 1962 में चीन ने जब हमारे देश पर आक्रमण किया तो उस वक्त
आकाशवाणी के लिये कुछ खास देशभक्ती गाने बजाये जाते थे, दोपहर 12.30 से
1.00 बजे तक देश भक्ती गीतों में प्राय यह गीत सुनाया जाता था यह गीत
स्कूलों में बच्चो की कापी के पीछे गत्ते पर छपा रहता था जिसे स्कूली बच्चे
अक्सर गुनगुनाते थे
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